मनुज आया बनकर पीने वाला ...
Monday, July 23, 2012
मेरी अभिलाषा
एक चाह जिसकी न कोई जुबां न कोई भाषा
कर दू ज़िन्दगी अपनी तेरे नाम, अब तो सिर्फ यही है मेरी अभिलाषा !!
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